मुनिकीरेती में 40 करोड़ की नालियां सवालों के घेरे में
सिंचाई विभाग पर मनमानी का आरोप
तीर्थ चेतना न्यूज
मुनिकीरेती। मुनिकीरेती/तपोवन में 40 करोड़ से बन रही नालियां इन दिनों चर्चा में है। सिंचाई विभाग द्वारा किए जा रहे कार्य पर आम जन सवाल उठा रहा है।
केंद्र सरकार ने मुनिकीरेती/ढालवाला और तपोवन में ड्रेनेज सिस्टम विकसित करने के लिए 40 करोड़ रूपये स्वीकृत किए हैं। इससे करीब 24 किमी. नालियों का निर्माण होना है। सिंचाई विभाग ने इसकी शुरूआत कर दी है।
सड़कों पर हुए अतिक्रमण को हटाए बगैर बन रही नालियों से पूरे प्रोजेक्ट सवालों के घेरे में है। सवाल उठ रहा है कि क्या इस तरह से बनने वाली नालियांें से प्रॉपर ड्रेनेज हो सकेगा। सिंचाई विभाग स्वयं द्वारा चिन्हित अतिक्रमण को भी बगैर हटाए नालियों का निर्माण कर रहा है।
चारधाम यात्रा से ठीक पहले 14 बीघा के मुख्य मार्ग पर नाली निर्माण के लिए चल रही खोदा खादी से लोगों की मुश्किलें बढ़ गई हैं। आम लोगों का आरोप है कि नालियों के निर्माण में प्लानिंग का अभाव है।
लोगों का आरोप है कि चुनाव आचर संहिता की आड़ में सिंचाई विभाग हर स्तर पर मनमानी कर रहा है। निकाय प्रशासन और निवर्तमान बोर्ड की चुप्पी को लेकर भी लोगों में खासी नाराजगी है।
यही नहीं निर्माण के नाम पर हो रही मनमानी को लेकर जितने मुंह उतनी बातें भी हो रही हैं। पेयजल योजना की लाइन निर्माण में भी ऐसा ही कुछ देखने और सुनने को मिला था।
सिंचाई विभाग के अधिशासी अभियंता कमल सिंह का कहना है कि काम प्रॉपर तरीके से हो रहा है। कहीं कोई मनमानी नहीं हो रही है। बगैर अतिक्रमण हटाने नालियों का निर्माण पर उन्होंने कहा कि नालियों का निर्माण सर्वे के हिसाब से किया जा रहा है।