यूपी में पुरानी पेंशन बहाली पर समाजवादी पार्टी ने लिया स्टैंड
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में सरकारी शिक्षक/कर्मचारियों की पुरानी पेंशन बहाली पर समाजवादी पार्टी के स्टैंड लिया है। पार्टी का वादा है कि सत्ता में आने पर शिक्षक/कर्मचारियों की पुरानी पेंशन बहाल कर दी जाएगी। इसका पूरे राज्य में व्यापक असर दिख रहा है। डंके की चोट पर पुरानी पेंशन बहाली को असंभव बताने वाले सपा के दांव से सकपका गए हैं।
उल्लेखनीय है कि अक्तूबर 2004 से सरकारी सेवा में आए शिक्षक/कर्मचारियों को पंरपरागत पेंशन नहीं मिलेगी। इसके स्थान एनपीएस लागू किया गया है। एनपीएस को लेकर जो अनुभव रहे हैं उससे देश भर के सरकारी शिक्षक/कर्मचारी पुरानी पेंशन बहाली की मांग कर रहे हैं।
देश के सबसे बड़े राज्य में मुख्य विपक्षी दल समाजवादी पार्टी के प्रमुख यूपी के पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने सत्ता में आने पर कर्मचारियों की पुरानी पेंशन बहाल करने का ऐलान किया है। इससे शिक्षक/कर्मचारियों में पुरानी पेंशन को लेकर उम्मीद बंधी है।
सपा के इस ऐलान से पुरानी पेंशन को अब असंभव बताने और डंके की चोट पर न कहने वाले सकपका गए हैं। इसको लेकर कुतर्क किए जाने लगे हैं। हैरानगी की बात ये है कि एनपीएस के लाभ भी गिनाए जा रहे हैं।
कुल मिलाकर शिक्षक/कर्मचारियों की पुरानी पेंशन बहाली का मामला राजनीतिक मुददा बनने लगा है। चुनाव में इसका असर भी दिखेगा। ये बात धरातलीय राजनीति और सामाज के बारे में चिंतन मनन रखने वाले राजनेता अच्छे से समझने लगे हैं।
उत्तराखंड में कांग्रेस औ आम आदमी पार्टी इस पर हामी भर चुके हैं। अब देखने वाली बात होगी कि इसे घोषणा पत्र में स्थान मिलता है या नहीं। हां, तय है कि पुरानी पेंशन बहाली की मांग कर रहे शिक्षक/कर्मचारी और उनके परिजन इस चुनाव में रिएक्ट जरूर करेंगे।