मणिपुर व महंगाई के विरोध में सड़कों पर उतरे कांग्रेसी, गिरफतारी दी
राजभवन मार्च के दौरान भाजपा सरकार पर साधा निशाना
तीर्थ चेतना न्यूज
देहरादून। मणिपुर व महंगाई के विरोध में कांग्रेस ने राजभवन मार्च किया। इस दौरान सड़कों पर उतरे कांग्रेसियों ने केंद्र और राज्य सरकार पर उक्त दोनों मुददों को लेकर जमकर निशाना साधा।
राष्ट्रीय नेतृत्व के आहवान पर बुधवार को प्रदेश कांग्रेस कमेटी के बैनर तले कांग्रेस राजधानी की सड़कों पर उतरे। मणिपुर और महंगाई के विरोध में कांग्रेसियों प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा के नेतृत्व में राजभवन मार्च किया। इस दौरान कांग्रेसी केंद्र और राज्य सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी कर रहे थे।
राजभवन मार्च में पूर्व सीएम हरीश रावत, नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य समेत पार्टी के दिग्गज नेताओं ने शिरकत की और तमाम मुददों पर केंद्र और राज्य की भाजपा सरकार को जमकर कोसा। कहा कि केंद्र सरकार सिर्फ एक अडानी के लिए काम कर रही है। देश में अडाणी के हित ही देश के हित बनकर रह गए हैं।
प्रदेश अध्यक्ष करन माहरा ने कहा कि गौतम अडाणी को एक अमेरिकी अदालत से समन किया है। इससे पूरे देश छवि प्रभावित हो रही है। उन्होंने कहा कि सरकार और इस प्रकार के कारोबारियों के गठजोड़ की सजा आम जनता महंगाई के रूप में भुगत रही है।
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष माहरा ने आम लोगों से अपील की कि वो केंद्र और राज्य सरकार की करतूतों को पहचाने। आम जन के हितों को हर स्तर पर प्रभावित किया जा रहा है। भाजपा ने चुनाव बांड से करोड़ों रूपये चंदा लिया और महंगाई बढ़ाने का परमिट दे दिया।
उन्होंने मणिपुर पर कहा कि अजीब बात है कि बड़ी बड़ी बातें करने वाली केंद्र सरकार मणिपुर को जनता छोड़ रही है। प्रधानमंत्री इस पर चुप्पी साधे हुए हैं। उन्होंने कहा कि उत्तराखंड नौ हिमालयी राज्यों में आपराधों में पहले स्थान पर है। उन्होंने अंकिता भंडारी मामले का जिक्र करते हुए कहा कि वीआईपी का अभी तक सरकार ने पता नहीं लगाया।
राज्य में महिलाओं के खिलाफ अपराध लगातार बढ़ रहे हैं। कहा कि राज्य में भ्रष्टाचार खूब फलफूल रहा है। सरकार के संरक्षण में अवैध खनन जोरों पर है। इसको लेकर हो रही शिकायतों पर सरकार गौर करने को तैयार नहीं है।
उन्होंने कहा कि राज्य में माफिया हावी हैं। भू-कानून को लेकर राज्य सरकार सिर्फ बयानबाजी तक सीमित है। संचालन प्रदेश उपाध्यक्ष सूर्यकांत धस्माना ने किया।
राजभवन कूच में पूर्व सीएम हरीश रावत, नेता प्रतिपक्ष यशपाल आर्य, प्रीतम सिंह, पूर्व मंत्री मंत्री प्रसाद नैथानी, मथुरादत्त जोशी, शूरवीर सजवाण, हीरा सिंह बिष्ट, रंजीत रावत, प्रदीप टम्टा, गोविंद सिंह कुंजवाल, हरीश धामी, विक्रम सिंह नेगी, तिलकराज बेहड़, राजेंद्र शाह, याकूब सिद्धिकी, गोदावरी थापली, जयेंद्र रमोला, एडवोकेट राकेश मियां, डा. प्रतिमा सिंह, गरिमा दसौनी, विनोद नेगी, मोहित उनियाल, दिनेश चौहान, उत्तम असवाल, सुधीर राय, संदीप चमोली आदि मौजूद रहे।