डा. मधु थपलियाल की जैव विविधता पर आधारित लघु फिल्म प्रदर्शित

डा. मधु थपलियाल की जैव विविधता पर आधारित लघु फिल्म प्रदर्शित
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देहरादून। अंतर्राष्ट्रीय जैव विविधता दिवस पर प्रकृति संरक्षिका डा. मधु थपलियाल द्वारा निर्मित लघु फिल्म स्टोरी ऑफ येलो फ्रोग्स रिलीज की गई।

उत्तराखंड बायोडायवर्सिटी बोर्ड के बैनर तले मलसी डियर पार्क के ग्रीन बिल्डिंग में जैव विविधता दिवस मनाया गया। .समस्त जीवों के लिए साझा भविष्य का निर्माण थीम पर आधारित इस वर्ष के अंतर्राष्ट्रीय जैव विविधता दिवस में नगर निगम के मेयर सुनील गामा बतौर मुख्य अतिथि शामिल हुए।

उन्होंने आर्गेनिक फार्मिंग अपनाने तथा आर्गेनिक भोजन खाने पर जोर दिया. उन्होंने सभी से प्लास्टिक की थैलियों की जगह कपडे का बैग प्रियोग करने पर जोर दिया। इस अवसर पर गवर्नमेंट पीजी कॉलेज, मालदेवता रायपुर की जंतु विज्ञानं की विभागाध्यक्ष एवं प्रकृति संरक्षिका डा० मधु थपलियाल कि लघु फिल्म “द स्टोरी ऑफ़ येलो फ्रोग्स” का रिलीज़ की गई। विशिष्ठ अतिथि पूर्व वन संरक्षक  आरबीएस रावत, सीसीएफ वन पंचायत शिवालिक रेंज पीके पात्रो, बायोडायवर्सिटी बोर्ड के सदस्य सचिव आरएन झा द्वारा किया गया।

इस फिल्म के माध्यम से डॉ मधु थपलियाल ने यह संदेश देने का प्रयास किया है कि यदि धरती पर जीवन बचाना है तो इसके लिए हर व्यक्ति को अपने स्तर पर स्वयं प्रयास करना होगा. उन्होंने बताया कि शहरों के बीचों-बीच जिस तरह कंक्रीट के जंगल फ़ैल रहे हैं, ऐसे में जैव विविधता का धनी देहरादून को बचने की कवायत और भी तेज़ हो जानी चाहिए. सभी के द्वारा लघु फिल्म कि सराहना कि गयी और इस एक निर्भीक एवं अनुकर्णीय प्रयास बताया है।

डीएफओ पीके पात्रा ने मलसी डियर पार्क जू को इको-फ्रेंडली बनाने की कहानी सबके साथ साझा की तथा बताया की पार्क में प्लास्टिक का प्रवेश पूरी तरह से प्रतिबंधित है. उन्होंने थ्री आर० की भी व्याख्या की. बायोडायवर्सिटी बोर्ड के अमित सिंह द्वारा विस्तृत रूप से पी० बी० आर० की जानकारी दी गयी।

कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि पूर्व प्रमुख वन संरक्षक आरबीएस रावत ने बताया कि किस प्रकार वन विभाग द्वारा अति उत्कृष्ट कार्य किये जा रहे है. उन्होंने आम जन से भी यह अनुरोध किया कि छोटे और बड़े स्तर पर अपने पर्यावरण के प्रति संवेदनशीलता रखनी है तभी हम जैव विविधिता से मिलने वाले रिसौर्सस का उपयोग कर पाएंगे।

उत्तराखंड जैव विविधता बोर्ड के सदस्य सचिव डा. आरएन झा ने बताया की जैविक संसाधन क्यों जरूरी हैं, तथा जैव विविधिता प्रबंध समिति बी० एम० सी०, क्या है। उन्होंने बताया कि उनकी बी० एम० सी० द्वारा तैयार की गयी पी० बी० आर० ने सम्पुर्ण देशवासियों का मान बढाया है।. कार्यक्रम के अंत में डा. झा ने सभी को धन्यवाद ज्ञाप किया।

कार्यक्रम का संचालन डा. ओपी तिवारी द्वारा किया गया. कार्यक्रम में बायोडायवर्सिटी बोर्ड के प्रशासनिक अधिकारी अरविन्द उनियाल, सांख्यिकी अधिकारी मनोज सिमल्टी, तकनीकी अधिकारी गौतम, सोनालिका, अमित, सचिन, शालिनी, आँचल, ज्योति, करिश्मा, डा० भवतोष, प्रो० शर्मा, समेत विभिन्न विभागों के अधिकारी मोजूद थे।

Tirth Chetna

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