दून विश्वविद्यालय में उत्तर पश्चिम और मध्य हिमालय प्राकृतिक आपदाओं पर सेमिनार

सेमिनार के निष्कर्षों से सरकार को अवगत कराएंः डा. धन सिंह रावत
तीर्थ चेतना न्यूज
सेमिनार आदि आयोजनों से निकलने वाले निष्कर्षों को सरकार तक जरूरत पहुंचाएं। ताकि निष्कर्षों का उपयोग राज्य की बेहतरी में किया जा सके।
ये कहना है राज्य के शिक्षा मंत्री डा. धन सिंह रावत का। रावत रविवार को दून विश्वविद्यालय के सीनेट हॉल में देवभूमि विज्ञान समिति उत्तराखंड एवं दून विश्वविद्यालय के भूगर्भ एवं भूगोल विभाग के संयुक्त तत्वाधान में उत्तर पश्चिमी और मध्य हिमालय प्राकृतिक आपदाओं पर एक दिवसीय सेमिनार के शुभारंभ के मौके पर बोल रहे हैं।
सेमिनार उदघाटन करते हुए डा. धन सिंह रावत ने इस प्रकार के आयोजन कराए जाने पर जोर दिया और कहा कि अगर ऐसे आयोजन सीमांत क्षेत्रों में कराई जायें तो ज्यादा लोगों तक फायदा पहुंचाया जा सकता है। उन्होंने उत्तराखंड में आपदा प्रबंधन विश्वविद्यालय की स्थापना पर भी जोर दिया। उन्होंने यह भी कहा कि इस प्रकार के आयोजनों के पश्चात जो भी निष्कर्ष निकाला जाए उसे सरकार तक अवश्य पहुंचाएं।
विज्ञान भारती के राष्ट्रीय सचिव प्रवीण रामदेव जी ने कार्यक्रम के उद्घाटन संबोधन में विचार व्यक्त करते हुए कहा कि विज्ञान भारती का मुख्य उद्देश्य भारतीय पुरातन ञान को आज की पीढ़ी को बताना और जागरूक करना है । कार्यक्रम के दूसरे वक्ता जे० एम० एस० राणा जी द्वारा कहा गया कि मध्य हिमालय भूभाग बहुत ही संवेदनशील क्षेत्र है, हम आपदा को रोक तो नहीं सकते हैं , लेकिन उसके प्रभाव को हम कम जरूर कर सकते है।
इससे पूर्व कार्यक्रम में देव भूमि विज्ञान समिति उत्तराखंड के अध्यक्ष प्रोफेसर के० डी० पुरोहित द्वारा सभी अतिथियों और प्रतिभागियों का स्वागत किया गया और कार्यक्रम के बारे में बताया गया। मुख्यवक्ता डॉ० ए० पी ० डिमरी जी द्वारा उत्तराखंड में आज तक आयी आपदाओं पर वैज्ञानिक दृष्टिकोण से प्रकाश डाला। इस अवसर पर भूविज्ञानी प्रोफेसर वाई.पी.सुन्दरियल को विज्ञान भारती ने उनके योगदान हेतु सम्मानित किया।
कार्यक्रम की अध्यक्षता दून विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो० सुरेखा डंगवाल द्वारा की गयी। इस अवर्सर पर प्रोफ़ेसर आर० पी० ममगई ,डॉ पीयूष रौतेला ,डॉ गौतम रावत एवं डॉ राजेश भट्ट जी द्वारा भी अपने विचार व्यक्त किए। कार्यक्रम का संचालन प्रोफेसर एचसी पुरोहित द्वारा किया गया .कार्यक्रम के समापन समारोह के मुख्य अतिथि पदम श्री प्रोफेसर एचसी वर्मा एवं प्रो उत्तराखंड आयुर्वेदिक वि वि कुलपति सुनील जोशी रहे।
कार्यक्रम के अंत में सभी प्रतिभागियों को प्रमाण पत्र भी वितरित किए गए .कार्यक्रम मे धन्यवाद ज्ञापन डॉ नरेंद्र द्वारा प्रस्तुत किया गया। इस अवसर पर देव भूमि विज्ञान समिति उत्तराखण्ड के सचिव प्रोफेसर हेमवती नंदन पांडे ,कार्यक्रम के संयोजक प्रोफेसर कुलदीप सिंह, डॉ लोकेश सिंह, आयोजन सचिव डॉ विपिन ,डॉ राजीव शरण अहलूवालिया ,डॉ पल्लवी ,डॉक्टर अभिलाषा, डॉ अंशुमन ,डॉ अभिजीत, डॉ दीपक भट्ट डॉ० आनंद सिंह राणा, विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार डॉ० मंद्रवाल, डॉ० नरेंद्र लाल एवं दोनों विभाग के छात्र-छात्राएं उपस्थित रहे ।